खंडवा लोकसभा उपचुनाव में किसी “नौजवान और निष्ठावान” नेता को कांग्रेस का टिकट मिले : यादव
इंदौर, 04 अक्टूबर। मध्यप्रदेश की खंडवा लोकसभा सीट पर 30 अक्टूबर को होने वाला उपचुनाव लड़ने से इनकार करने के बाद पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण यादव ने सोमवार को कहा कि वह इस क्षेत्र से चार बार चुनावी रण में उतर चुके हैं और आसन्न उपचुनाव में किसी नौजवान तथा निष्ठावान नेता को कांग्रेस का टिकट मिलना चाहिए।
यादव ने इंदौर में संवाददाताओं से कहा, “मैंने निजी और पारिवारिक कारणों से खंडवा लोकसभा सीट के उपचुनाव से अपनी दावेदारी वापस ली है। मैं इस बात के लिए कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और पार्टी के तमाम बड़े नेताओं का आभार व्यक्त करता हूं कि मुझे खंडवा सीट से चार बार लोकसभा चुनाव लड़ने का मौका दिया गया और मुझे अहम पदों से नवाजा गया।”
उन्होंने कहा कि खंडवा लोकसभा सीट के उपचुनाव में किसी नौजवान और निष्ठावान कांग्रेस नेता को पार्टी का टिकट मिलना चाहिए।
पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा, “इस उपचुनाव में कांग्रेस का जो भी अधिकृत उम्मीदवार होगा, हम सब उसे जिताने के लिए पूरी निष्ठा और ईमानदारी से काम करेंगे ताकि हम राज्य में वर्ष 2023 में होने वाले विधानसभा चुनावों के लिए भी अपनी तैयारी मजबूत कर सकें।”
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यादव इस शर्त पर मीडिया से बातचीत को राजी हुए थे कि वह केवल अपनी बात कहेंगे और संवाददाताओं के सवालों का जवाब नहीं देंगे। मीडिया से संक्षिप्त बातचीत के बाद वह खंडवा लोकसभा क्षेत्र के बागली के लिए रवाना हो गए और उन्होंने कहा कि वह कांग्रेस के मंडल और बूथ प्रभारियों की पिछले चार दिन से जारी बैठकों में हिस्सा लेंगे।
यादव ने यह भी कहा कि वह खंडवा लोकसभा क्षेत्र के उपचुनाव के मद्देनजर कांग्रेस संगठन की गतिविधियों में शामिल होना जारी रखेंगे। उन्होंने कहा, “मैं कांग्रेस का जिम्मेदार नेता हूं और हमारी जिम्मेदारी है कि हम इस उपचुनाव में पार्टी को विजय दिलाएं।”
बहरहाल, सियासी विश्लेषक खंडवा लोकसभा उपचुनाव लड़ने से यादव के इनकार को विरोधियों के खिलाफ उनके बड़े रणनीतिक दांव के तौर पर भी देख रहे हैं।
कांग्रेस सूत्रों ने बताया कि इस उपचुनाव के मद्देनजर यादव पिछले छह महीने से खंडवा क्षेत्र में सक्रिय थे और पार्टी के टिकट के लिए उनकी दावेदारी सबसे मजबूत मानी जा रही थी।
सूत्रों ने बताया कि पश्चिमी मध्यप्रदेश के निमाड़ अंचल के दिग्गज कांग्रेस नेता यादव खंडवा लोकसभा उपचुनाव की घोषणा के बाद पिछले चार दिनों के भीतर दो बार दिल्ली का दौरा कर पार्टी के वरिष्ठ नेताओं से मुलाकात भी कर चुके हैं।
हाल के दिनों में बुरहानपुर के निर्दलीय विधायक सुरेंद्र सिंह शेरा को खंडवा लोकसभा उपचुनाव में यादव की दावेदारी के सामने सीधी चुनौती पेश करते देखा गया है। शेरा अपनी पत्नी जयश्री ठाकुर के लिए कांग्रेस के टिकट का दावा कर रहे हैं।
बुरहानपुर, खंडवा लोकसभा क्षेत्र का ही हिस्सा है। खंडवा क्षेत्र के चुनावी नतीजों में राजपूत समुदाय के मतदाता भी अहम भूमिका निभाते हैं।
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