दौ सौ करोड़ का इनामी अलकायदा चीफ अल जवाहिरी अमेरिकी ड्रोन हमले में मारा गया…
राष्ट्रपति जो बाइडन: अब न्याय मिल गया 👆
अफगानिस्तान में गृह मंत्री के घर में छिपा था, राष्ट्रपति जो बाइडन ने की पुष्टि…
दुनिया से पहली प्रतिक्रिया- सऊदी अरब ने स्वागत किया…
लखनऊ/वाशिंगटन। अमेरिका ने 9/11 का बदला ले लिया है, 9/11 के मुख्य आरोपी अलकायदा नेता अयमान अल-जवाहिरी को सीआईए ने अफगानिस्तान में ड्रोन हमले में मार गिराया है। अल-जवाहिरी पर अमेरिका ने 25 मिलियन डालर (दो सौ करोड़) का इनाम घोषित कर रखा था। अल जवाहिरी को मारे जाने के मामले में दुनिया से प्रतिक्रिया आना शुरू हो गई हैं, सऊदी अरब ने इसका स्वागत किया है। अमेरिका ने दावा किया है कि उसने आतंकवादी संगठन अल कायदा के सरगना अयमान अल जवाहिरी को एक ड्रोन हमले में मार गिराया है। साल 2011 में ओसामा बिन लादेन के मारे जाने के बाद अल कायदा को यह अब तक का सबसे बड़ा झटका लगा है। जवाहिरी को अफगानिस्तान में सीआईए के ड्रोन ने मार गिराया। बताया गया है कि अल जवाहिरी अफगानिस्तान के सबसे सुरक्षित क्षेत्र में वहां के गृह मंत्री के घर में रह रहा था।
इस खबर की पुष्टि स्वयं राष्ट्रपति जो बाइडन ने अपने संबोधन में कर दी है। सोमवार शाम को अपने संबोधन में राष्ट्रपति बाइडन ने कहा कि ‘न्याय की जीत हुई। अलकायदा सरगना अयमान अल जवाहिरी काबुल में एक हवाई हमले में मारा गया है। साफ है अगर आप हमारे लोगों के लिए खतरा हैं, तो अमेरिका आपको ढूंढेगा और बाहर निकालेगा, आप चाहे कहीं भी छिप जाएं, चाहे कितना भी समय लगे।’ बाइडन ने कहा कि ‘शनिवार को मेरे निर्देश पर अफगानिस्तान के काबुल में सफलतापूर्वक ड्रोन स्ट्राइक की गई, इसमें अलकायदा का सरगना अयमान अल-जवाहिरी की मौत हो गई। यह 11 नवंबर 2001 को हुए हमले के पीड़ितों को न्याय दिलाने की दिशा में एक और कदम है। अंत में उन्होंने कहा- अब न्याय मिल गया है। बाइडन ने कहा कि अब मैं अफगानिस्तान को आतंकवादियों के लिए कभी भी, बिल्कुल भी सुरक्षित जगह नहीं बनने दूंगा। साथ ही ध्यान रखूंगा कि ऐसा आगे भी नहीं हो सके।’
9/11 हमलों में जवाहिरी ने की थी मदद . . .
मिस्र के डॉक्टर और सर्जन अल जवाहिरी ने अमेरिका में 11 सितंबर, 2001 के हमलों में चार विमानों को हाईजैक करने में मदद की थी। इनमें दो विमान वर्ल्ड ट्रेड सेंटर के दोनों टावर्स से टकरा गए थे। जबकि तीसरा विमान अमेरिकी रक्षा मंत्रालय यानी पेंटागन से टकराया। चौथा विमान शेंकविले में एक खेत में क्रैश हुआ था। इस घटना में 3,000 लोग मारे गए थे। अमेरिका पर 11 सितंबर के हमलों के बाद 2001 के अंत में जब अमेरिकी सेना ने अफगानिस्तान की तालिबान सरकार को गिरा दिया था, उस समय बिन लादेन और जवाहिरी दोनों बचकर निकल गए थे। बाद में बिन लादेन को अमेरिकी फौजों ने साल 2011 में पाकिस्तान में मार गिराया था। अमेरिकी अधिकारियों ने न्यूज एजेंसी रॉयटर्स को बताया कि रविवार को अफगानिस्तान की राजधानी काबुल में सीआईए ने एक ड्रोन हमला किया था। ये ऑपरेशन पूरी तरह सफल रहा है और कोई नागरिक हताहत नहीं हुआ। यह हमला अफगानिस्तान में काउंटर टेररिज्म ऑपरेशन के तहत किया गया।
तालिबान की भूमिका पर उठ रहे सवाल, , ,
जवाहिरी के मारे जाने के बाद सवाल उठ रहा है कि क्या अगस्त 2021 में काबुल पर कब्जा करने के बाद तालिबान आतंकी सरगना को शरण दिए हुए था। इससे पहले अफगानिस्तान में पिछले 20 साल तक अमेरिकी सेना की तैनाती रही है। वहीं, तालिबान के प्रवक्ता जबीहुल्ला मुजाहिद ने एक बयान में एक हमले की पुष्टि की और कड़ी निंदा की और इसे ‘अंतरराष्ट्रीय सिद्धांतों’ का उल्लंघन बताया। अफगानिस्तान के गृह मंत्रालय के प्रवक्ता ने भी कहा था कि काबुल में रविवार सुबह जोरदार धमाके की आवाज सुनी गई। प्रवक्ता अब्दुल नफी तकोर ने कहा, ‘शेरपुर में एक मकान पर रॉकेट से हमला किया गया था। चूंकि मकान खाली था इसलिए कोई भी जख्मी नहीं हुआ।
विशेष संवाददाता विजय आनंद वर्मा की रिपोर्ट, , ,