न्यायाधीश की मौत के मामले की गंभीरता को देखते हुए…

न्यायाधीश की मौत के मामले की गंभीरता को देखते हुए…

जांच सीबीआई को सौंपी गई…

“हिंद वतन समाचार” पर 29 जुलाई को चली खबर 👆

नई दिल्ली। झारखंड सरकार ने उच्चतम न्यायालय से कहा है कि धनबाद में एक न्यायाधीश को वाहन से कुचलने की घटना की गंभीरता तो देखते हुए उसने सारे मामले की जांच सीबीआई को सौंपने का फैसला किया और केंद्रीय एजेंसी ने मामला दर्ज करने के बाद जांच शुरू कर दी है।

राज्य सरकार ने कहा कि जिला एवं अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश उत्तम आनंद की दुर्भाग्यपूर्ण मौत के मामले की जांच में वह केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) का पूरा सहयोग करेगी।

झारखंड सरकार की स्थिति रिपोर्ट में कहा गया है, ‘‘जांच सीबीआई को हस्तांतरित किये जाने के बाद, चार अगस्त को केंद्रीय जांच एजेंसी ने मामला दर्ज किया और मामले की जांच अपने हाथों में ले ली।’’

अधिवक्ता पल्लवी लांगर के मार्फत दाखिल झारखंड के मुख्य सचिव सुखदेव सिंह और पुलिस महानिदेशक नीरज सिन्हा ने न्यायालय में यह रिपोर्ट दाखिल की है। स्थिति रिपोर्ट में राज्य सरकार ने कहा है कि मृतक न्यायिक अधिकारी को एक निजी सुरक्षा अधिकारी उपलब्ध कराया गया था जो उस वक्त कांस्टेबल सौरभ साव थे।

न्यायालय ने इस घटना का स्वत: संज्ञान लिया है और इस विषय पर शुक्रवार को प्रधान न्यायाधीश एन वी रमण की अध्यक्षता वाली पीठ सुनवाई करेगी।

रिपोर्ट में कहा गया है, ‘‘झारखंड सरकार ने अब राज्य के सभी जिलों में न्यायिक अधिकारियों की आवासीय कॉलोनियों में अतिरिक्त सुरक्षा बल (एक पुलिस अधिकारी, एक हवलदार और चार सशस्त्र कांस्टेबल) तैनात करने की व्यवस्था की है।’’

मामले की जांच के बारे में राज्य सरकार ने कहा कि उच्च न्यायालय के 29 जुलाई के निर्देश के अनुपालन में उसने एडीजीपी संजय आनंद लाठकर के नेतृत्व में 22 सदस्यीय एक विशेष जांच टीम गठित की है।

रिपोर्ट में कहा गया है कि न्यायाधीश की मौत के मामले में व्यापक षडयंत्र का पता लगाने के लिए हर कोशिश की जा रही है।

यह घटना 28 जुलाई की सुबह हुई थी, जब एडीजे उत्तम आनंद सुबह की सैर पर गये थे।

हिन्द वतन समाचार की रिपोर्ट…