आयुष्मान वाले संक्रमितों की अलग से बनाई जा रही है सूची…
भोपाल,12 मई। राजधानी में आयुष्मान योजना का लाभ लेने वाले कोरोना संक्रमित मरीजों को दबाव बनाकर अस्पतालों में भर्ती कराया जा रहा है। ऐसा इसलिए किया जा रहा है ताकि प्रशासन अपना लक्ष्य पूरा कर सके। इसके लिए अधिकारियों को जिम्मा सौंपा गया है। चूंकि इसकी समीक्षा मुख्य सचिव द्वारा की जानी है। लिहाजा इसे देखते हुए एसडीएम अपने-अपने क्षेत्र में आयुष्मान कार्डधारी मरीजों की एक सूची बना रहे हैं। हालांकि इसमें से कुछ मरीज ऐसे हैं जो मंद लक्षण वाले हैं और अस्पताल नहीं जाना चाहते हैं। ऐसे में अपना लक्ष्य पूरा करने वाहवाही लूटने के लिए अधिकारियों पर दबाव बनाया जा रहा है कि वे इन लोगों को अस्पताल में भर्ती कराएं। जिला प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी अपने कनिष्ठों को इस संबंध में निर्देश भी दे रहे हैं। योजना में पंजीकृत अस्पतालों को लाभ पहुंचाने की तैयारी – कुछ प्रशासनिक अधिकारियों का कहना है कि उन्हें निर्देश मिले हैं कि आयुष्मान कार्ड धारकों को अस्पताल में भर्ती करवाया जाता है, ताकि उनकी जो जांचे होनी हैं, हो जाएंगी और हमें हमारी सूची में एक नाम मिल जाएगा। बताया जा रहा है कि जो जितने ज्यादा लोगों को अस्पताल पहुंचाएगा, उसे उतनी वाहवाही मिलेगी। ऐसे में सवाल यह भी उठता है कि क्या यह कवायद सिर्फ इसलिए की जा रही है, ताकि आयुष्मान भारत योजना में पंजीकृत अस्पतालों को लाभ पहुंचाया जा सके। एक बार मरीज भर्ती हुआ तो उसके बिल में कितना पैसा जोड़ा जाएगा, इसकी जानकारी मरीज के स्वजन को नहीं दी जाएगी। सरकार से चार-चार लाख रुपये तक बिल भी वसूले जाएंगे, लेकिन कोई पूछने वाला नहीं आएगा। भर्ती कराने के लिए प्रशासन ने की वाहनों की व्यवस्था – हैरत तो यह है कि इन मरीजों को भर्ती करवाने के लिए प्रशासन ने वाहनों की व्यवस्था भी कर ली है, ताकि जो लोग होम आइसोलेशन में हैं, उन्हें दबाव बनाकर भर्ती करवाया जा सके। बता दें कि अस्पतालों में जब तक मरीज छह घंटे भर्ती नहीं रहता है उसे आयुष्मान कार्ड का लाभ मिलना शुरू नहीं होता है। छह घंटे तक भर्ती कर भले ही इन लोगों को छोड़ दिया जाएगा, लेकिन सरकारी दरों के हिसाब से अस्पतालों में काफी लाभ पहुंच सकता है। आयुष्मान योजना के तहत कोलार में रहने वाले आयुष्मान कार्ड धारी पद्मावती दुबे को अक्षय हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया। वहीं राजेश सोनारे को अरेरा हॉस्पिटल में भर्ती करवाया। इन्हें अस्पताल तक पहुंचाने के लिए प्रशासन द्वारा वाहन भी उपलब्ध करवाया गया, जबकि दोनों मरीज गंभीर नहीं हैं, हल्का बुखार है और होम आइसोलेशन में रहकर ठीक हो सकते हैं। आयुष्मान कार्डधारियों की थानेवार सूची आप सभी को उपलब्ध कराई गई है। मुख्य सचिव महोदय आयुष्मान योजना की समीक्षा करेंगे। आप सभी सूची में अंकित व्यक्तियों को नजदीक के आयुष्मान अस्पताल में ले जाकर भर्ती करवाएं। जो जरूरी जांचें हैं,वह हो जाएंगी। इसके बाद जरूरी नहीं होगा तो उन्हें डिसचार्ज कर दिया जाएगा। केवल आयुष्मान योजना में दर्ज होना है और अस्पताल भी नहीं होने पर डिस्चार्ज होकर वापस आना यही कार्रवाई हमें करवानी है। दूसरा मैसेज – इस योजना का लाभ होगा कि पेशेंट को जो भी जरूरी जांच है वह हो जाएगी। अस्पताल को जो योजना मेंराशि मिलनी है वो राशि मिल जाएगी और हमें आयुष्मान योजना में दर्ज किए गए व्यक्तियों की संख्या प्राप्त हो जाएगी।
हिन्द वतन समाचार की रिपोर्ट…