27 अक्टूबर से धर्म नगरी में आयोजित रामलीला…
मथुरा, 13 अक्टूबर । भगवान श्री राधा कृष्ण की पावन धरा पर विगत वर्ष की भांति इस वर्ष भी भगवान मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम की लीलाओं का मंचन किया जाएगा। उत्तर भारत के विशालतम श्री रंगनाथ मंदिर के बड़े बगीचा मैदान पर आयोजित होने वाली रामलीला का शुभारंभ 27 अक्टूबर को प्रथम पूज्यनीय गणपति एवं मुकुट पूजन के साथ होगा। प्रथम दिवस दशरथ महाराज का पुत्रेष्टि यज्ञ,रामजन्म एवं बाल लीलाओं का मंचन किया जाएगा। रामलीला कमेटी वृंदावन के मुख्य संस्थापक रामविलास चतुर्वेदी ने बताया कि श्री धाम वृंदावन में रामलीला का मंचन विगत वर्ष बहुत ही भव्य तरीके से किया गया। इस वर्ष भी इस आयोजन को और दिव्यता प्रदान करने का कमेटी प्रयास कर रही है। श्री धाम वृंदावन की पावन धरा पर जितना भगवान श्री राधा कृष्ण का महत्व है उतना ही भगवान श्री राम का भी। यहां तुलसीदास जी जब आए तो उन्होंने भगवान कृष्ण के श्री राम के रूप में दर्शन किए। इसके अलावा यहां वैष्णव और वैष्णव सहित विभिन्न मतों के आश्रम और प्रमुख स्थान भी हैं। इसलिए यह धरा अत्यंत पावन भूमि है। व्यवस्थापक योगेश द्विवेदी ने बताया कि मुकुट पूजन,राम बारात के अलावा पांच नवंबर को अहिरावण और रावण वध के साथ आतिश्वाजी की जायेगी। छह नवम्बर को लोई बाजार में भरत मिलाप लीला का आयोजन किया जाएगा। 7 नवंबर को भगवान श्री राम के राज्याभिषेक के साथ लीला का समापन हो जायेगा। संस्थापक अध्यक्ष आलोक बंसल ने बताया कि इस बार श्री रामलीला के दौरान वाल्मीकि रामायण के अनुसार लव कुश चरित्र लीला का भी मंचन किया जाएगा। श्री राम लीला के अंतिम दिन यह लीला भगवान श्री राम के राज्याभिषेक के पश्चात पंडाल में ही की जायेगी। पत्रकार वार्ता के दौरान राम लीला कमेटी के उपाध्यक्ष भीमसेन अग्रवाल चक्की वाले, महामंत्री अनिल गौतम,कोषाध्यक्ष लक्ष्मी नारायण दीक्षित,मंत्री अजय अग्रवाल मूर्ति वाले,संयोजक अलौकिक शर्मा,सुधीर शुक्ला आदि उपस्थित रहे।