पुलिस महानिदेशक, उ0प्र0 द्वारा वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से समीक्षा बैठक कर दिये गये दिशा-निर्देश…
लखनऊ। एच0सी0 अवस्थी, पुलिस महानिदेशक, उ0प्र0 द्वारा आज दिनांक 12.02.2020 को पुलिस आयुक्त गौतमबुद्वनगर, समस्त जोनल अपर पुलिस महानिदेशक, परिक्षेत्रीय पुलिस महानिरीक्षक/पुलिस उपमहानिरीक्षक, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक/पुलिस अधीक्षक, प्रभारी जनपद के साथ यूपी 112 में वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से समीक्षा बैठक कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिये गये। इस अवसर पर अपर पुलिस महानिदेशक, कानून व्यवस्था, अपर पुलिस महानिदेशक, अपराध, अपर पुलिस महानिदेशक, 112, पुलिस आयुक्त, लखनऊ सहित अन्य अधिकारीगण उपस्थित रहे।
पुलिस महानिदेशक, उ0प्र0 द्वारा वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से मुख्यतः निम्न निर्देश देते हुये कहा कि
पुलिस के मुख्यतः दो कार्य है, अपराधों की रोकथाम एवं कानून व्यवस्था बनाये रखना।
प्रत्येक पुलिस कर्मी ”प्रोफेशनल पुलिसिंग” करते हुये आम जनता से उच्च कोटि का व्यवहार बनाये रखे।
भ्रष्टाचार पर जीरो टाॅलरेंस की नीति का अनुपालन किया जाये, इसमें किसी प्रकार कि शिथिलता क्षम्य नहीं है।
बीट पुलिसिंग पर जोर देते हुये कहा कि प्रत्येक बीट पुलिस कर्मी अपने-अपने बीट में अवश्य भ्रमण करें तथा अधिक से अधिक सूचनायें संग्रहित करें। प्रत्येक थानों में गश्त मिलान की कार्यवाही भी सुनिश्चित की जाये।
विवेचनाओं का निस्तारण व्यवसायिक दक्षता के साथ गुणवत्तापूर्ण एवं समयबद्ध किया जाये। विवेचना में वैज्ञानिक टूल्स के माध्यम से साक्ष्य संकलन की कार्यवाही की जाये।
यातायात व्यवस्था पर विशेष ध्यान दिया जाये। जनपद में महत्वपूर्ण व्यस्ततम् चैराहों/स्थानों का चिन्हीकरण कर पर्याप्त ड्यूटियां लगायी जाये, जिससे आमजन को स्मूथ ट्रैफिक सुगम हो सके।
नो-एन्ट्री खुलने के समय स्थानीय पुलिस मुस्तैद रहे किसी भी दशा में एम्बुलेंस, आमजन आदि के आवागमन में असुविधा न होने पाये।
महिलाओं एवं बच्चों के प्रति घटित अपराधों को रोकने हेतु त्वरित कार्यवाही की जाये, यदि कोई अपराध घटित होता भी है तो वरीयता पर तत्काल कार्यवाही करते हुये अतिशीघ्र अभियुक्तों की गिरफ्तारी के साथ-साथ अभियुक्तों के विरूद्व मा0 न्यायालय में विचारण के दौरान विशेष रूचि लेकर प्रभावी पैरवी करते हुये उन्हेे सजा दिलायी जाये।
साइबर क्राइम को रोकने के लिये जनजागरूकता कार्यक्रम चलाया जाये, पम्पलेट बांटे जाये तथा सिनेमाघरों मे स्लाइड के माध्यम से क्या करें, क्या न करें का भी प्रोजेक्शन किया जाये। यदि अपराध घटित हो जाता है तो विशेषज्ञ पुलिस कर्मियों के सहयोग से शीघ्रातिशीघ्र उसका अनावरण करते हुये अभियोगों में गुणवत्तापरक विवेचना की जाये।
अपराध एवं अपराधियों पर रोकथाम एवं सतर्क दृष्टि रखने तथा यातायात व्यवस्था को सुगम बनाये रखने हेतु अतिमहत्वपूर्ण एवं व्यस्ततम् चैराहों पर अधिक से अधिक सीसीटीवी कैमरें लगाये जाये।
स्मार्ट पुलिसिंग सही अर्थो में अतिशीघ्र रिस्पांस, परिणाम उन्मुख एवं कुशल पुलिसिंग ही है। इस पर विशेष ध्यान दिया जाये।
हिन्द वतन समाचार की रिपोर्ट…