न्यायालय ने कोका कोला की बॉटलिंग इकाई पर 15 करोड़ रुपये के जुर्माने के एनजीटी के आदेश पर रोक लगाई…

न्यायालय ने कोका कोला की बॉटलिंग इकाई पर 15 करोड़ रुपये के जुर्माने के एनजीटी के आदेश पर रोक लगाई…

नई दिल्ली, 24 मई। उच्चतम न्यायालय ने अमेरिकी कंपनी कोका कोला की बॉटलिंग इकाई मून बेवरेजेज पर पर्यावरणीय उल्लंघन के मामले में राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) द्वारा लगाए गए 15 करोड़ रुपये के जुर्माने पर रोक लगा दी है।

न्यायमूर्ति एल नागेश्वर राव, न्यायमूर्ति बीआर गवई और न्यायमूर्ति ए एस बोपन्ना की पीठ ने मून बेवरेजेज की तरफ से दायर याचिका पर गाजियाबाद के निवासी को नोटिस भी जारी किया है….. जिसकी शिकायत के आधार पर एनजीटी ने यह फैसला दिया था।

पीठ ने कहा, ‘‘एनजीटी की प्रधान पीठ के 25 फरवरी, 2022 को जारी आदेश को लागू करने पर रोक रहेगी।’’

शीर्ष अदालत ने मून बेवरेजेज लिमिटेड की तरफ से एनजीटी के फैसले के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई के बाद यह रोक लगाई है।

एनजीटी ने कंपनी की ग्रेटर नोएडा इकाई पर 1.85 करोड़, साहिबाबाद इकाई पर 13.24 करोड़ और वरुण बेवरेजेज लिमिटेड की ग्रेटर नोएडा इकाई पर 9.71 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया था।

इसके अलावा एनजीटी ने एक संयुक्त समिति भी गठित की थी जिसमें पर्यावरण मंत्रालय, जल शक्ति मंत्रालय, सीजीडब्ल्यूए, यूपीजीडब्ल्यूडी और संबंधित जिलों के जिला मजिस्ट्रेट शामिल थे।

एनजीटी ने गाजियाबाद निवासी सुशील भट्ट की याचिका पर जुर्माना लगाने का निर्देश दिया था। भट्ट ने अपनी याचिका में मनमाने तरीके से भूजल को निकालने का आरोप लगाया था। याचिका में कहा गया था कि क्षेत्र में भूजल का वैसे ही संकट है, ऐसे में इन इकाइयों द्वारा अविवेकपूर्ण और मनमाने तरीके से जल निकाला जा रहा है।

हिन्द वतन समाचार की रिपोर्ट…