आलोचना से लें सीख…

आलोचना से लें सीख…

कई बार ऐसा होता है कि ऑफिस में परफॉर्मेंस अच्छा नहीं होने पर बॉस आपकी आलोचना करते हैं, लेकिन आलोचना को दिल पर लेने की बजाय परफॉर्मेंस को बेहतर बनाने पर ज्यादा ध्यान देना चाहिए…

क्या आपको याद है कि पहली बार आपकी अच्छी तरह आलोचना कब हुई थी? यह शायद स्कूल में हुआ हो या नौकरी में किसी गलत कदम पर। आप जिसे मूर्ख समझते रहे हों, तब ऐसे व्यक्ति को भी आप पर हंसने का मौका मिला होगा। हो सकता है कि कॉलेज में आपका कोई ऐसा दोस्त रहा है, जो हर समय आपकी आलोचना करता रहा हो। ऐसे दोस्त से आप हमेशा खीझते रहे होंगे। कई बार आप रिएक्ट भी कर जाते रहे होंगे। कॉलेज लाइफ में तो इससे बहुत फर्क नहीं पड़ने वाला था, लेकिन जॉब के दौरान आपके लिए ऐसा करना नुकसानदेह हो सकता है। प्रोफेशनल लाइफ में आपको यह सीखना होगा कि आलोचना पर भी शांत कैसे रहें और उससे किस तरह से सीख लें। सच तो यह है कि ज्यादातर लोग स्वभाविक रूप से आलोचना को बर्दाश्त नहीं कर पाते।

आलोचना को स्वीकार करें:- आप आलोचना के डर से अक्सर अपने सीनियर कलीग या बॉस से अपने काम के बारे में ज्यादा बात नहीं करते। यह सही रवैया नहीं है। अपने काम के बारे में अपने बॉस से रेगुलर फीडबैक लेते रहें। अपने काम के संतोषजनक होने को लेकर आंख मूंदकर विश्वास न करें। आलोचना सुनना या गलत काम के लिए डांट सुनना पहले थोड़ा असुविधाजनक लग सकता है, लेकिन धीरे-धीरे आप इसके लिए अभ्यस्त हो जाएंगे और यह आपके करियर के लिहाज से पॉजिटिव ही रहेगा।

आपकी प्रतिक्रिया सधी हो:- आप इस पर तो नियंत्रण नहीं कर सकते कि कब आपकी आलोचना हो जाए या किस तरह से कोई आपकी आलोचना करता है। लेकिन आप अपनी प्रतिक्रिया पर नियंत्रण जरूर कर सकते हैं। आलोचना करने पर क्या आपको अपने कान बंद कर लेने चाहिए या भुनभुनाना शुरू कर देना चाहिए? जी नहीं, आपको ध्यान से सुनना चाहिए कि आपके लिए क्या कहा जा रहा है? आप यदि अपने को मुश्किल स्थिति में पाते हैं, तो बाद में बॉस या सहकर्मियों से चाय-कॉफी के साथ इस पर चर्चा कर सकते हैं।

आलोचना से कैसे निपटें:- यह किसी कर्मचारी के लिए एक महत्वपूर्ण गुण होता है। आप यदि छोटी से छोटी आलोचना पर आपा खो देते हैं, तो खुद को ही बड़ा नुकसान पहुंचा रहे हैं।

बचाव की कोशिश न करें:- जब कोई बॉस आपकी आलोचना करे, तो यह समझ लीजिए कि वह यह नहीं चाहता कि आप अपना बचाव करें। वह चाहता कि आप चुपचाप सुनें कि वह आपके बारे में क्या कह रहा है? बॉस किसी काम में नुक्स निकालता है, तो कहें कि आप आगे से इसमें सुधार की कोशिश करेंगे।

जब बेवजह आलोचना हो तो:- आलोचना हमेशा रचनात्मक ही नहीं होती। कई बार यह बेवजह, असभ्य तरीके से भी की जाती है। लेकिन यदि आपके बॉस या सहकर्मी कभी ऐसा करें, तो भी आपको व्यवहारकुशलता के साथ ही प्रतिक्रिया देनी चाहिए। व्यक्तिगत अहं के टकराव की जगह यह समझने की कोशिश करें कि लोग क्या कह रहे हैं और समस्या वास्तव में क्यों है?

प्रदर्शन की हो आलोचना:- आपको लगता है कि आप अच्छा काम करते हैं, लेकिन बॉस ने ईयरली परफॉर्मेंस रिव्यू में अपेक्षा के अनुरूप ग्रेड नहीं दिया। आपको इस पर नाराजगी हो सकती है, लेकिन इसे दिल पर न लें। आगे काम कैसे करना है और अगले साल कैसे ग्रेड अच्छा पाना है, इसकी योजना बनाएं।

हिन्द वतन समाचार की रिपोर्ट…