क्या उ०प्र० के मुख्यमंत्री के आदेश…

क्या उ०प्र० के मुख्यमंत्री के आदेश…

निर्देश का क्रियान्वयन हो रहा है? “अनिल मेहता”…

लखनऊ यूँ तो जब से योगी आदित्य नाथ,उ०प्र० के मुख्यमंत्री बने हैं बराबर उ०प्र० के अधिकारियों को जनहित के कार्यों के लिये आदेश निर्देश दे रहे हैं पर उ०प्र० के मुख्यमंत्री जी से यहीं पर चूक हो गई! उ०प्र० के मुख्यमंत्री यह जानने में विफल रहे कि जो आदेश,निर्देश उन्होंने दिये हैं उनका क्रियान्वयन हुआ या नहीं? उ०प्र० के मुख्यमंत्री जनहित के आदेश निर्देश देते रहे और उ०प्र० की अफसर शाही अपने हिसाब से कार्य करती रही! आँखों देखी एक घटना बताता हूँ! जब सुरेश खन्ना जी नगर विकास मंत्री थे तो अधिकारियों से बता कर पुराने लखनऊ, यानि चौक,नक्खास,हैदर गंज,ऐशबाग आदि-आदि क्षेत्रों में दौरे पर निकले, नतीजा रातों-रात अधिकारियों ने क्षेत्रों को चमका दिया,प्रात: मंत्री जी लावलश्कर के साथ पधारे और अधिकारियों की पीठ ठोंक कर चलते बने! मंत्री जी ने क्षेत्र की जनता से समस्या जानने का प्रयास नहीं किया! नतीजा मंत्री जी के जाते ही क्षेत्र की यथा स्थिति बरकरार हो गई! यहाँ पर मैं उ०प्र०पूर्व मुख्यमंत्रियों, स्व० गोविंद वल्लभ पंत तथा हेमवती नन्दन बहुगुणा का नाम लेना चाहूँगा जिनको अधिकारियों के कारस्तानी की पूरी सूचना रहती थी इस काम में उ०प्र० की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती को भी महारत हासिल थी! कोई भी अधिकारी इन मुख्यमंत्रियों की आँख में धूल नहीं झोंक सकता था! अधिकारियों को सूचना दे कर जब मंत्री लोग दौरे पर निकलेंगे तो आँखों में धूल झोंकने में माहिर अधिकारी मंत्री जी की आवभगत करके उनको चलता कर देंगे! औचक निरीक्षण शायद ही गिने चुने मंत्रियों ने किया हो! एक बहुत ही रोचक घटना जो दैनिक समाचार पत्रों में भी प्रकाशित हुई थी उ०प्र० के मुख्यमंत्री जी प्रधानमंत्री के चुनाव क्षेत्र वाराणसी में स्थित रैनबसेरों का दौरा करने पहुँचे! जाड़े के दिन थे! वाराणसी के अधिकारियों ने तत्काल वाराणसी के रैन बसेरों में कम्बल,रजाई, तखत,बिस्तर लगवा दिये,मुख्यमंत्री जी पहुँचे इन्तजाम देखकर बहुत प्रसन्न हुये! मुख्यमंत्री जी के जाते ही अधिकारियों ने रैनबसेरे का सब सामान रैन बसेरे में रहने वालों से लेकर यथास्थान पहुँचा दिया! यह समाचार दैनिक समाचारपत्रों में प्रकाशित भी हुआ था! निश्चित रूप से मुख्यमंत्री जी भी इस समाचार से अवगत हुये होंगे! परन्तु अभय दान प्राप्त अधिकारी अपनी जगह पर जमे रहे! अगर उ०प्र० की राजधानी, लखनऊ की बात करें तो जगह-जगह गन्दगी का साम्राज्य, बदहाल सड़कें, बेतरतीब,ट्रैफिक समस्या,बदहाल बिजली, पानी की व्यवस्था आपको जगह-जगह मिल जायेगी! मुख्यमंत्री जी अधिकारियों द्वारा दिये गये आँकड़ो पर विश्वास करना छोड़ें अपने सूत्रों द्वारा क्षेत्र की समस्याओं के बारे मे जानकारी लें,तथा दैनिक समाचारपत्रों में प्रकाशित जन समस्याओं का भी संज्ञान लें!

वरिष्ठ पत्रकार अनिल मेहता,प्रमुख सम्पादक, पब्लिक पॉवर न्यूज ग्रुप मो०न०9455551550,7565998663

हिन्द वतन समाचार की रिपोर्ट…