*साइबर बुलिंग के मामले 10 फीसदी बढ़े*

*साइबर बुलिंग के मामले 10 फीसदी बढ़े*

*क्या है साइबर बुलिंग,इस तरह बचें:*

 

*नई दिल्ली।* इंटरनेट के बढ़ते चलन के बीच साइबर बुलिंग के मामलों में भी तेजी से इजाफा हो रहा है। खासतौर से सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल करने वाले इसका ज्यादा शिकार हो रहे हैं। आंकड़ों की मानें तो इंटरनेट पर धमकी, गाली-गलौज आदि के मामले पिछले साल की तुलना करीब 10 फीसदी बढ़ गए हैं। आलम यह है कि हर माह साइबर सेल सहित दिल्ली पुलिस की स्थानीय यूनिट के पास ऐसी करीब डेढ़ सौ शिकायतें पहुंच रही हैं। पुलिस व साइबर विशेषज्ञों का कहना है कि साइबर सुरक्षा के बारे में जानकारी नहीं होने के चलते व इसका ध्यान नहीं रखने के कारण लोग इस तरह के अपराध का शिकार हो रहे हैं।

 

 *क्या है साइबर बुलिंग*

 

इंटरनेट पर लोगों को परेशान करना, डराना, गाली देना या फिर धमकाकर कोई काम करवाना साइबर बुलिंग है। इसमें सोशल नेटवर्किंग साइट पर किसी को असभ्य, घटिया संदेश भेजना, सोशल नेटवर्किंग साइट के चैटरूम का इस्तेमाल कर लोगों को परेशान करना, अश्लील चित्र, वीडियो जैसी सामग्री भेजकर तंग करना आदि हरकतें शामिल हैं।

 

*साइबर बुलिंग की शिकायतें वर्ष मामले*

 

2019 1181

2020 1349

(आंकड़े 1 जनवरी से 30 सितंबर तक, स्रोत : दिल्ली पुलिस)

 

*इस तरह बचें:*

 

– सोशल नेटवर्किंग प्लेटफॉर्म पर निजी जानकारी को साझा न करें और किसी भी साइट पर कमेंट करते समय निजी जानकारियां फ़ोन नंबर या निवास स्थान का पता न लिखें।

 

– सोशल नेटवर्किंग साइट पर किसी अंजान व्यक्ति के सन्देश का जवाब न दें। हो सके तो ऐसे व्यक्ति को ब्लॉक कर दें।

 

– कभी भी किसी जानकारी के लिए किसी अप्रमाणिक एप या वेबसाइट का इस्तेमाल न करें। क्योंकि ऐसी साइट पर डाउनलोड करते वक़्त दी गई जानकारी बाद में साइबर बुलिंग का कारण बन सकती है।

 

*साइबर सुरक्षा का ध्यान रखें*

 

दुनिया तेजी से डिजिटलाइजेशन की ओर बढ़ रही है। ज्यादातर लोग डिजिटल प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल कर रहे हैं, लेकिन साइबर सुरक्षा से जुड़ी सावधानी नहीं बरत रहे हैं। इस कारण साइबर अपराधी उन्हें अपना शिकार बना रहे हैं। इसलिए जरूरी है कि जो भी लोग डिजिटल प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल कर रहे हैं, वे डिजिटल सावधानी का पूरा ध्यान रखें।