अफवाह नहीं जागरूकता फैलाएं- जिलाधिकारी…
इटावा- जिलाधिकारी जेबी सिंह ने सर्वसाधारण को सूचित किया है कि निषेधाज्ञा संख्यादृ 1116, जेए-धारा-144/2020 13 फरवरी से 10 अप्रैल तक जिला सीमा अन्तर्गत दंड प्रक्रिया संहिता की धारा-144 के अन्र्तगत निषेधाज्ञा लागू की गयी है। निषेधाज्ञा में कोविड-19 के संबंध में त्रुटिपूर्ण, भ्रामक सूचना, चेतावनी फैलाकर भयावह स्थिति उत्पन्न करने वाले व्यक्तियों के विरूद्ध डिजास्टर मैनेजमेन्ट एक्ट-2005 तथा महामारी अधिनियम-2005 की धारा-51 से 60 के अन्र्तगत आईपीसी की धारा-188, 269, 270 में दंडनीय अपराध होगा।
निषेधाज्ञा आदेश संख्या-1116/जे0ए0-धारा-144/2020 13 फरवरी को सीमा तक संशोधित किया जाता है। अधिसूचना के प्रभावी रहते हुए यह संज्ञान में आया है कि कतिपय कुछ लोगों द्वारा जनधन खाते में आए हुए 500 रुपए की सहायता राशि के 15 अप्रैल तक निकासी न करने पर वापस जाने की भ्रामक सूचना फैलाई जा रही है। इस प्रकार की सूचना के कारण कई क्षेत्रों में यह बात संज्ञान में आई है कि लोग बड़ी संख्या में ग्राहक सेवा केन्द्र, बैंक व एटीएम के बाहर जुट रहे हैं जिससे कोरोना वायरस के संक्रमण का खतरा लगातार बढ़ रहा है। उन्होने यह भी स्पष्ट कि है कि सरकार द्वारा भेजी गई सहायता राशि है जो लाभार्थी के खाते में ही संचित रहेगी। ऐसे में अति आवश्यकता न होने पर 15 अप्रैल से पहले धनराशि निकालने से बचें साथ ही इसके लिए किसी प्रकार की भ्रामक सूचना पर विश्वास न करें। जिन लोगों को आवश्यकता है वह सोशल डिस्टेंस का पालन करते हुए किसी भी बैंक शाखा, एटीएम के माध्यम से एक समय में अधिकतम 5 लोग इसका भुगतान प्राप्त कर सकतें है। इस दौरान सोशल डिस्टेंस व मास्क का प्रयोग अनिवार्य है ऐसा न करने पर संबंधित लाभार्थी को बैंक से वापस किया जा सकता है। उन्होंने प्रबन्धक, जिला अग्रणी बैंक एवं पी. बी. मैनेजर मुख्य शाखा, भारतीय स्टेट बैंक वार्ता कर करोना वायरस के संक्रमण के बचाव व रोकथाम के दृष्टिगत बैंक ग्राहक सेवा केन्द्रों को सशर्त केन्द्रों को खोलने की अनुमति प्रदान की है। शर्तों में किसी भी प्रकार की शिथिलता पाये जाने पर तत्सम्बन्धित के विरूद्ध सुसंगत नियमों के परिपेक्ष में कठोर कार्यवाही की जायेगी, जिसके लिए वह स्वयं उत्तरदायी होंगें।
पत्रकार नितेश प्रताप सिंह की रिपोर्ट…