लखनऊ में पुजारी की गला रेतकर नृशंस हत्या, हाथ काट धड़ से कर दिया अलग…

लखनऊ।हिन्द वतन समाचार…

लखनऊ में पुजारी की गला रेतकर नृशंस हत्या, हाथ काट धड़ से कर दिया अलग…

बराखेमपुर गांव के बाहर अकोहरा बाबा देवस्थल के पुजारी अमरनाथ तिवारी की गला काटकर हत्या कर दी गई। बदमाशों ने अमरनाथ का एक हाथ काटकर शव के पास छोड़कर चले गए थे। पुलिस को अब तक हत्या का कारण पता नहीं चल सका है। वारदात की जानकारी मिलते ही इलाके में सनसनी फैल गई। सैकड़ों की संख्या में ग्रामीण देवस्थल पर पहुंचे। पुलिस का कहना है कि मामले की पड़ताल की जा रही है। जल्द ही हत्याकांड का राजफाश कर दिया जाएगा। बराखेमपुर गांव के बाहर अकोहरा बाबा का स्थान है, जहां के पुजारी अमरनाथ तिवारी थे। वह देवस्थल की कुटिया में सो रहे थे। इसी बीच रविवार देर रात में बदमाशों ने उनकी हत्या कर दी। अमरनाथ के शरीर पर गहरे चोट के कई निशान थे, जो बदमाशों से संघर्ष की कहानी बयां कर रहे थे। अमरनाथ तिवारी बीकेटी के ग्राम सोनवा के रहने वाले थे।बराखेमपुर के ग्राम प्रधान बाबूलाल ने बताया कि अमरनाथ करीब १२ साल से अकोहरा बाबा स्थान पर रह रहे थे और पूजा पाठ करते थे। अमरनाथ के भाई रामलखन का कहना है कि उनके भाई की किसी से कोई रंजिश नहीं थी। अमरनाथ के पिता पहले देवस्थल की देखरेख करते थे। पिता के बाद अमरनाथ ने यह जिम्मेदारी संभाली थी।गांव के राजेश ने बताया कि कुटिया के पीछे की कच्ची दीवार बनाने के लिए अमरनाथ 10 दिन पहले ग्रामीण सर्वेश के ट्यूबवेल से सीढ़ी मांगकर लाए थे। सोमवार को सर्वेश के कहने पर राजेश देवस्थल पहुंचा और पुजारी को आवाज लगाई। राजेश के मुताबिक कुटिया के बाहर से ही उसने आवाज लगाकर महाराज जी को प्रणाम करते हुए सीढ़ी देने की बात कही। प्रतिक्रिया न मिलने पर उसने कुटिया के भीतर जाकर देखा तो अवाक रह गया। भीतर हर तरफ खून बिखरा था। राजेश शोर मचाते हुए वहां से भागा और ग्रामीणों को सूचना दी।शोरगुल होने पर गांव के कोटेदार ने मामले की जानकारी की और पुलिस को फोन कर घटना के बारे में बताया। इसके बाद सीओ बीकेटी हृदेश कठेरिया टीम के साथ वहां पहुंचे और छानबीन की। हालांकि उन्हें कोई सुराग नहीं मिला। पुलिस ने ग्रामीणों से पूछताछ की है।सीओ बीकेटी के मुताबिक कई बिंदुओं पर हत्याकांड की जांच की जा रही है। अभी तक पुलिस किसी नतीजे पर नहीं पहुंची है। वहीं थाना प्रभारी ब्रजेश सिंह का कहना है कि हत्या के पीछे लूटपाट की वजह से इन्कार नहीं किया जा सकता। हत्यारे सीढ़ी के सहारे भीतर दाखिल हुए थे। सर्विलांस की मदद से संदिग्धों के बारे में पता लगाया जा रहा है। माना जा रहा है कि लूट के विरोध में पुजारी की हत्या की गई है।

हिन्द वतन समाचार की रिपोर्ट…