इमरान खान की पार्टी पीटीआई विदेशी फंडिंग मामले में दोषी…
इस्लामाबाद,। पाकिस्तान चुनाव आयोग (ईसीपी) ने विदेशी फंडिंग मामले में पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पार्टी पीटीआई (पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ) को दोषी ठहराया। इस फैसले से इमरान खान को बड़ा झटका लगा है।
मुख्य चुनाव आयुक्त (सीईसी) सिकंदर सुल्तान राजा के नेतृत्व वाली तीन सदस्यीय पीठ ने मंगलवार को अपने फैसले में यह घोषणा की। ईसीपी के फैसला सुनाए जाने की घोषणा से पहले फाइनेंशियल टाइम्स ने अपनी रिपोर्ट में खुलासा किया कि पीटीआई को अबराज के संस्थापक आरिफ नकवी से संबंधित वूटन क्रिकेट क्लब से धन प्राप्त हुआ था। यह धन एक चैरिटी मैच के माध्यम से अर्जित किया गया था।
राजा ने बताया कि पीटीआई को 24 विदेशियों, 351 कारोबारी संस्थाओं और कंपनियों से धन प्राप्त हुए हैं। उन्होंने बताया कि जांच के दौरान 13 बैंक अकाउंट्स भी मिले हैं, जिनके बारे में पार्टी की ओर जानकारी नहीं दी गई है। मामले में चुनाव आयोग ने पार्टी को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। बता दें कि पाकिस्तान के कानून के मुताबिक विदेशी फंडिंग गैर कानूनी है। सियासी पार्टियों से जुड़े आर्टिकल 6 के मुताबिक यह गैर कानूनी साबित हुआ है।
फैसले के बाद सुरक्षा चाक चौबंद
इमरान खान के खिलाफ आए इस फैसले के बाद किसी भी हंगामे से निपटने के लिए सुरक्षा व्यवस्था के सख्त इंतजाम किए गए हैं। चुनाव आयोग की तरफ जाने वाली सड़कों को बंद कर दिया गया है। साथ ही रास्ते में भारी तादाद में पुलिस को तैनात किया गया है।
चुनाव आयोग का फैसला गलत है : फवाद चौधरी
फैसला आने के बाद पीटीआई सरकार में कई मंत्रालयों की जिम्मेदारी संभालने वाले फवाद चौधरी ने चुनाव आयोग के फैसले को गलत साबित कर दिया है। उन्होंने कहा कि कुछ समझ नहीं आता। क्या ओवरसीज पाकिस्तानी को अब दुश्मन समझा जाएगा? उन्होंने कहा कि पार्टी को विदेशों से मिलने वाली यह फंडिंग ओवरसीज पाकिस्तानियों की है। उन्होंने कहा कि हम शुरू से ही कहते आ रहे हैं कि यह विदेशी फंडिंग नहीं।
क्या है मामला
दरअसल, 13 नवंबर, 2014 को पीटीआई के संस्थापक सदस्य अकबर एस बाबर की तरफ से चुनाव आयोग में यह केस दर्ज किया गया था। इसकी आठ वर्षीय सुनवाई में पीटीआई ने 30 बार समय मांगा और छह बार केस को सुनवाई लायक ही नहीं समझा। हालांकि आयोग ने इस दौरान पीटीआई से 21 बार दस्तावेज और रिकॉर्ड मांगा। इतना ही नहीं इमरान खान की पार्टी ने इस केस को लड़ने के लिए नौ वकील भी बदले।
हिन्द वतन समाचार” की रिपोर्ट…